पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी जिले के "लक्ष्यभेद पब्लिकेशंस" से प्रकाशित होने वाली सर्वप्रथम हिन्दी डिजिटल फॉर्मेट की पत्रिका "लक्ष्यभेद हिंदी ई-पत्रिका" के वेब पोर्टल पर आपका स्वागत है। आज आपके सामने प्रस्तुत है रचनाकार कल्पना गुप्ता "रतन" की एक कविता जिसका शीर्षक है “शिक्षक ":
इंसान की चमक से चमकता जहान है।
होता नहीं आदरणीय शिक्षक से दूर है।
शिक्षक के दम से फलता विज्ञान है।
संसार में कैसे, रख पाएंगे सब संयम।
सपनों को पूरा करने का हुनर सिखाता है।
शिक्षक ही तुम्हारा आधार है
शिक्षक से ही सारा संसार है
वह ज्ञान का भंडार है
प्यार और इंसानियत की
अटल ऊंची आदर्शवादी दीवार है
होता उसका समाज में
आदर सत्कार है।
करता जग का कल्याण है।