Welcome to the Official Web Portal of Lakshyavedh Group of Firms

गीत: माँ भारती (ललिता शर्मा 'नयास्था', भीलवाड़ा, राजस्थान)

पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी जिले के
 "लक्ष्यभेद पब्लिकेशंससे प्रकाशित होने वाली सर्वप्रथम हिन्दी डिजिटल फॉर्मेट की पत्रिका "लक्ष्यभेद हिंदी ई-पत्रिकाके वेब पोर्टल पर आपका स्वागत है। आज आपके सामने प्रस्तुत है रचनाकार ललिता शर्मा 'नयास्था' का एक गीत  जिसका शीर्षक है “माँ भारती”: 

भारती माँ भारती हे भारती  माँ भारती।
द्वार तुम्हारे खड़ी हूँ करने को आरती।।
भारती माँ भारती हे भारती  माँ भारती।
 
तुम धरा प्राणों बसी बन स्वाँस तनमन में रची।
हर दिशा में हर निशा में धूम तेरी ही मची।
जन्म पाऊँ इस धरा में बस यही वर माँगती।
भारती माँ भारती हे भारती  माँ भारती।
 
वंदना तेरी करूँ दिल में बसाकर मूर्ति को।
प्राण मेरे कम पड़ेंगे आप के ऋण पूर्ति को।।
काटती है सब दुखों को भारती बन सारथी
भारती माँ भारती हे भारती  माँ भारती।
 
पुण्यवेदी यज्ञ - सी स्वराज मेरा मान हो।
विश्ववेदी पर चढ़ी तुम हम सभी की शान हो।
आँच आने दे नहीं माँ ज़िंदगी हैं वारती।
भारती माँ भारती हे भारती  माँ भारती।