पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी
जिले के "लक्ष्यभेद पब्लिकेशंस" से प्रकाशित होने वाली सर्वप्रथम हिन्दी डिजिटल फॉर्मेट की पत्रिका "लक्ष्यभेद हिंदी ई-पत्रिका" के वेब पोर्टल पर आपका
स्वागत है। आज
आपके सामने प्रस्तुत है रचनाकार सोनम कुमारी
की एक कविता जिसका शीर्षक है “नारी ... शक्ति का प्रतीक”:
कोमल हैं कमजोर नहीं तू,
शक्ति का नाम ही नारी हैं।
जग को जीवन देने वाली,
नारी नहीं बेचारी हैं।
काली हैं, वो दुर्गा हैं,
शिव की अर्धांगिनी नारी
हैं।
धरती नापी, अम्बर नापी,
चंद्र, मंगल की यात्रा जारी हैं।
करछी, बेलन साथ हैं जिसके,
वो प्रशासन में भी भारी
हैं।
शिक्षा हो या खेल जगत,
सबमें उसकी भागीदारी हैं।
देश, सड़क, संसद से होकर,
देश चलाने वाली हैं।
घर की बागडोर को लेकर,
समाज सुधारने की अधिकारी
हैं।
कोरोना - काल की बात कहें तो,
उसमें भी हिस्सेदारी हैं।
नारी का सम्मान करोगे,
तभी देश सुधरने वाली हैं।